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Shri Chand Choudhary

CHAIRMAN, ISHWAR GROUP OF INDUSTRIES

I believe that quality education is the key to nation-building. We need to build a nation, in which its children, are culturally sensitive, globally aware, and take pride in being Indians first. Providing our children- our future with an education that is GLOBAL in its perspective and has its roots firmly grounded in our culture are the Challenges that Shanti Asiatic School Jaipur is keen to take on. It’s my privilege to be a part of this noble educational endeavor of empowering our children and enabling all of us to contribute to our nation.

JAI HIND.

 

ट्रस्टी द्वारा सन्देश

साहित्ये जीवन का आधार है

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पिछले वर्ष उत्कर्ष’ के प्रथम संस्करण को देखकर अत्यंत हर्ष अनुभव
हुआ। जिस उद्देश्य से ‘उत्कर्ष’ की संकल्पना की गई थी वह उद्देश्य
चरितार्थ होता नजर आ रहा है। इसी उद्देश्य को साहित्य सृजन की
ऊँचाइयों तक पहुँचाने का यह अभिनव प्रयोग बधाई का पात्र है।

जीवन काव्य द्वारा ही विकसित होता है। काव्य ही जीवन का दर्पण भी है।
कभी कोई टैगोर, कोई प्रेमचंद, कोई महादेवी अपने अमर काव्यों से इसका
कोष भरता है। प्रत्येक छात्र-छात्रा में सृजन की प्रवृत्ति होती है। इन्हीं में से
बनते हैं काव्य के नए सृजक, जो अपनी प्रतिभा से जीवन को नया दृष्टिकोण
देकर विचारों को दिशा प्रदान करते हैं। विद्यालय का वातावरण इन
विशिष्टताओं को फलने-फूलने का पूर्ण अवसर प्रदान करता है।

सृजन की धारा में नितांत व्यक्तिगत अनुभूति एवं संवेदना अवसर पाकर
कविता, लेख, विचार, कहानी आदि के माध्यम से प्रकट होकर समाज व
राष्ट्र के लिए प्रेरणा स्रोत बनती है। शांति एशियाटिक स्कूल के विद्यार्थियों ने
अपनी काव्य प्रतिभा एवं अपनी अन्तःप्रेरणा से स्फूर्ती एवं एक नव चेतना के
प्रसार का साहस किया है। यही नई चेतनाएँ अपने विचारों से समाज में नए
मानवीय मूल्यों का रोपण करेंगी ऐसा मेरा पूर्ण विश्वास है। साथ ही
विद्यालय के अध्यापकवृन्द भी अभिवादन के पात्र हैं जिनके हाथों में ये
प्रतिभाएँपुष्पित और पल्‍लवति हो रही हैं।

उत्कर्ष के द्वितीय संस्करण में निश्चय ही विद्यार्थियों के विचार, लेख,
कविताएँ आपके मन तक साहित्य के विभिन्‍न रूपों को पहुँचाने में सक्षम
होंगे और अपनी प्रतिभा दिखाएँगे।

छात्रों में काव्य की सृजनात्मकता का निरंतर विकास होता रहे, इसी आशा
और विश्वासके साथ …..

श्रीचंद चौधरी
शांति एशियाटिक स्कूल, जयपुर

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